किसी ने पूंच्छा भगवान से की तुम कहा बसते हो,
सैतान और इंसान तुम फ़र्क क्या समझते हो.
बुराई और भलाई मे फ़र्क कैसे करते हो.
किसी ने पुंच्छा भगवान से की तुम कहा बसते हो,
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God Says:
धरती से लेकर अम्बर तक हर चीज़ मे समाया हूँ.
जहा मिली सत्य निष्ठा खुद को मैने पाया हूँ
बिन स्वार्थ प्रेम देख कर मई यूँ ही रम जाता हूँ.
जहाँ भाव हो यथार्थ का मई वहीं बस जाता हूँ.
सुखद बने संसार ये इंसान को बनाया है,
ना भेद करना जीव मे इंसान को बताया है.
खुद की जयति देखकर इंसान यूँ बिगड़ गया.
अरमानो की सीढ़ी जोड़कर राक्षश यूँ बन गया.
मैने तो केवल इंसान मे इंसान ही जनाया है.
इस राक्षश रूपी बीज को उसी ने खुद उगाया है.